विश्व को प्रलय से बचाना हो तो …
क्या कभी सोचा कि विविध कारणों से दिन-प्रतिदिन मानवों
का मृत्युदर बढ़ता क्यों जा रहा है? और उसमे भी समय से पहले मरनेवालों कि संख्या बढती क्यों जा रही है?
इसका कारण है “LAW OF BALANCE” यानी “समानता का सिद्धांत”|
इस सिद्धांत के अनुसार मानव जितने अंश में अन्य जीवों की हिंसा करता है उतने ही अंश में मानवो की संख्या भी अपने आप घटने लगती है और यह बात वर्तमान में हमें प्रत्यक्ष रूप से दिखाई दे रही है|
अतः हमें अगर जीवित रहना हो तो इस विश्व की समग्र जीवसृष्टि को जीवित रखना ही पड़ेगा|
वर्तमान विज्ञानने वनस्पति को भी जीव रूप से स्वीकार किया है पर मात्र वनस्पति ही नहीं पर पृथ्वी-जल-अग्नि और वायु में भी हमारे जैसी ही आत्मा है ऐसा त्रिकालज्ञानी भगवान महावीरने कहा है| इनकी भी बिनजरूरी हिंसा बंद होगी तब ही मानवों की हिंसा में भी कमी आएगी|